पालीगंज प्रखंड के दहिया पंचायत स्थित हेलहा गांव में पहुँचकर मैंने चल रहे विकास कार्यों का विस्तृत जायज़ा लिया और प्रत्यक्ष रूप से ज़मीनी हालात को देखा। गाँव के दौरे का उद्देश्य केवल योजनाओं और निर्माण कार्यों की समीक्षा करना ही नहीं था, बल्कि ग्रामीणों की वास्तविक समस्याओं, उनकी अपेक्षाओं और उनके सुझावों को करीब से समझना भी था।
मेरा मानना है कि जनता की राय ही हमारे कार्यों की असली दिशा और ताक़त है। कोई भी विकास योजना तभी सार्थक होती है, जब उसमें सीधे तौर पर जनता की भागीदारी हो और उनके सुझावों को प्राथमिकता दी जाए। हेलहा गांव के लोगों की उम्मीदें हमें यह प्रेरणा देती हैं कि हम और तेज़ी और पारदर्शिता के साथ विकास कार्यों को आगे बढ़ाएँ।
ग्रामीणों के साथ खुले संवाद के दौरान शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क, जलनिकासी, बिजली, और रोजगार जैसी बुनियादी जरूरतों पर चर्चा हुई। लोगों ने अपनी-अपनी प्राथमिकताओं को साझा किया और इस बात पर ज़ोर दिया कि योजनाएँ केवल कागज़ पर नहीं, बल्कि धरातल पर दिखनी चाहिएं। मेरा मानना है कि जनता की राय ही हमारे कार्यों की असली दिशा और ताक़त है। कोई भी विकास योजना तभी सार्थक होती है