मसौढ़ी में भाकपा (माले) पटना ग्रामीण का दो दिवसीय जिला सम्मेलन संपन्न हुआ, जिसमें कॉमरेड अमर को पुनः जिला सचिव चुना गया और 45 सदस्यीय जिला कमिटी का गठन किया गया। सम्मेलन में पार्टी विस्तार, ज्वलंत सामाजिक-राजनीतिक मुद्दों पर पहलकदमी, और संविधान व लोकतंत्र की रक्षा के लिए संघर्ष का संकल्प लिया गया।
साथ ही 9 जुलाई को प्रस्तावित बिहार बंद व चक्का जाम में सक्रिय भागीदारी की घोषणा की गई, जो गरीबों, दलितों और वंचितों को वोटर लिस्ट से बाहर करने की कथित साज़िश के खिलाफ विरोध का प्रतीक होगा। सम्मेलन में यह स्पष्ट किया गया कि मोदी-नीतीश-चुनाव आयोग की "तिगड़ी" द्वारा लोकतंत्र और मताधिकार पर किए जा रहे हमलों का मुंहतोड़ जवाब सड़कों से दिया जाएगा।
इस सम्मेलन में कार्यकर्ताओं और नेताओं ने एकजुट होकर यह संकल्प लिया कि पार्टी को गाँव-गाँव, खेत-खलिहान और मेहनतकश जनता तक विस्तार दिया जाएगा। साथ ही यह भी तय किया गया कि पार्टी सिर्फ सांगठनिक विस्तार तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि हर सामाजिक, राजनीतिक और आर्थिक अन्याय के खिलाफ जमीनी संघर्ष को तेज करेगी।