बिहार के जमुई ज़िला और नालंदा के बिहारशरीफ में काम करने वाले बीड़ी मज़दूरों के हालात बेहद चिंताजनक हैं। उन्हें न तो सरकार द्वारा निर्धारित न्यूनतम मज़दूरी मिल रही है और न ही बुनियादी स्वास्थ्य सुविधाएँ। यहाँ तक कि उन्हें पहचान-पत्र तक नहीं दिया जा रहा, जिससे वे किसी भी सरकारी योजना का लाभ नहीं उठा पा रहे हैं।
विधानसभा में जब इस गंभीर मुद्दे को उठाया गया, तो सरकार का जवाब आधा-अधूरा और असंतोषजनक रहा। यह लाखों मेहनतकश मज़दूरों के अधिकारों का हनन है, जिनकी मेहनत का लाभ उद्योग उठा रहा है, लेकिन उन्हें उनके बुनियादी हक़ों से वंचित रखा जा रहा है।
अब समय आ गया है कि इन बीड़ी मज़दूरों की आवाज़ को बुलंद किया जाए और सरकार से उनके हक़ की गारंटी की माँग की जाए। #बदलो_बिहार_बदलो_सरकार