आज मैं इस सदन में शिक्षा बजट पर अपने विचार व्यक्त करने के लिए खड़ा हुआ हूँ। शिक्षा एक ऐसा क्षेत्र है जो किसी भी समाज और राष्ट्र के विकास की नींव होती है। यदि हम अपने देश और प्रदेश के भविष्य को सुरक्षित और सशक्त बनाना चाहते हैं, तो शिक्षा के क्षेत्र में पर्याप्त निवेश और सुधार अनिवार्य है।
महोदय, हमारे प्रदेश में शिक्षा के लिए जो बजट आवंटित किया गया है, वह कई मायनों में अपेक्षाओं से कम प्रतीत होता है। जहां एक ओर विद्यालयों की संख्या बढ़ाई जानी चाहिए, वहीं दूसरी ओर शिक्षकों की कमी, अवसंरचना की स्थिति, और गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए भी अधिक संसाधन आवश्यक हैं। वर्तमान बजट में इन क्षेत्रों के लिए पर्याप्त निधि आवंटन नहीं किया गया है।
शिक्षा विभाग को चाहिए कि वह न केवल भौतिक सुविधाओं का विकास करे, बल्कि छात्र-छात्राओं के सर्वांगीण विकास पर भी विशेष ध्यान दे। विशेष रूप से ग्रामीण और पिछड़े इलाकों में शिक्षा की पहुंच बढ़ाने के लिए अतिरिक्त प्रयास किए जाएं। बच्चों के लिए स्वस्थ वातावरण, पोषण, और डिजिटल शिक्षा के संसाधन उपलब्ध कराना आज की जरूरत है।